लगता है अराजक युवाओं का जमावड़ा, श्रद्धालुओं में चिंता का माहौल, मंदिर की पवित्रता को लग रहा दाग
यूथ इंडिया संवाददाता
फर्रुखाबाद। पांडवेश्वरनाथ मंदिर, जिसे पंडाबाग के नाम से जाना जाता है, इन दिनों एक नई समस्या का सामना कर रहा है। मंदिर का पवित्र प्रांगण अब धार्मिक गतिविधियों के बजाय युवाओं के लिए एक लवर पार्क बनता जा रहा है। सुबह और शाम के समय मंदिर की पटियों और ब्रैंचों पर लडक़े-लड़कियों की महफि़ल सजती है।
श्रद्धालुओं और भक्तों के अनुसार, यह स्थिति धीरे-धीरे गंभीर होती जा रही है। वे इस स्थान की पवित्रता और धार्मिक महत्त्व को बनाए रखने की अपील कर रहे हैं। उनका कहना है कि यह मंदिर हमारी आस्था का केंद्र है, लेकिन अब यहां का माहौल बदल गया है।
कई बार लडके और लडकियों के मामले इतना आगे बढ़ गये कि आपस की हरकतें लड़ाई में तबदील हो गई और मां-बहन की गंदी गालियां मंदिर प्रांगण में ही शुरू हो गयीं। कई बार तो मारपीट जैसे मामले भी सामने आये बताते चलें कि यह सब अधिकतर सुबह 9 से 12 बजे तक और शाम को 7 से 10 बजे तक देखने को मिलता है। इन हरकतों पर ना ही मंदिर के पुजारी कोई ऐक्शन लेते हैं और ना ही मंदिर कमेंटी, कई बार तो लोगों ने मंदिर में पूजन के नाम पर अपनी बर्थडे पार्टी जैसे कार्यक्रम भी किये और सतसंग भवन के बरामदे में दावत हुई और अश्लील गाने भी बजाये गये। अगर यही हाल मंदिर प्रांगण में चलता रहा तो वह दिन दूर नहीं जब पांडवेश्वरनाथ शिवालय को लोग पांडवेश्वरनाथ धर्मशाला के नाम से जानेंगे।
यह माहौल देख भगवान भोले के सच्चे भक्तों के दिल को बहुत ठेस पहुंचती है और मंदिर की गरिमा भी गिरती जा रही है। लोग लड़ाई, पुलिस और कोर्ट-कचहरी के डर से यह सब देख कर मन ही मन रो लेते हैं और अनदेखा कर देते हैं। इस मुद्दे पर प्रशासन का ध्यान आकर्षित करने के लिए स्थानीय निवासियों ने कदम उठाने की योजना बनाई है। वे चाहते हैं कि मंदिर का वातावरण फिर से धार्मिक और शांतिपूर्ण बने।