यूथ इंडिया (निखर सक्सेना )
फर्रुखाबाद। फतेहगढ़ बार एसोसिएशन को आधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित करते हुए एक नया रूप दिया गया है। इस कायाकल्प का श्रेय समाजसेवी सत्यप्रकाश अग्रवाल और उनकी पत्नी, राज्य महिला आयोग की सदस्य डॉ. मिथलेश अग्रवाल को जाता है, जिनके व्यापक सहयोग और उदार दान से यह संभव हो पाया है। बार एसोसिएशन के अध्यक्ष जवाहर सिंह गंगवार के नेतृत्व में यह सुधार अभियान शुरू किया गया, जिसमें बार का सभागार, पदाधिकारियों के चैंबर, महिला वकीलों के लिए विशेष हॉल और एक नई लाइब्रेरी बनाई गई है।
बैरिस्टर ब्रजनंदन लाल सभागार: सम्मान और गौरव का प्रतीक
नए सभागार का नाम प्रसिद्ध वकील बैरिस्टर ब्रजनंदन लाल के नाम पर रखा गया है, जो क्षेत्र के न्यायिक इतिहास में एक महत्वपूर्ण स्थान रखते हैं। यह सभागार अब अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस है, जिससे अधिवक्ताओं को बैठकों और कार्यों के लिए उपयुक्त स्थान मिल सकेगा। अध्यक्ष जवाहर सिंह गंगवार ने बताया कि यह सभागार बार एसोसिएशन के गौरव का प्रतीक है और इसके निर्माण में लाखों रुपये की लागत आई है।
महिला वकीलों के लिए विशेष सभागार: बेहतर सुविधा और कार्यक्षमता
इस कायाकल्प का एक और महत्वपूर्ण हिस्सा महिला वकीलों के लिए विशेष सभागार का निर्माण है। यह हॉल महिला वकीलों के लिए विशेष रूप से तैयार किया गया है, जिससे उन्हें कार्य के दौरान किसी प्रकार की असुविधा का सामना न करना पड़े। समाजसेवी सत्यप्रकाश अग्रवाल और डॉ. मिथलेश अग्रवाल ने इस पहल की सराहना की और इसे महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया।
अधिकारियों के लिए चैंबर और लाइब्रेरी: ज्ञान और प्रगति का केंद्र
बार के पदाधिकारियों के लिए भव्य चैंबर और एक शानदार लाइब्रेरी भी बनाई गई है, जो बार एसोसिएशन की कार्यक्षमता को और अधिक बढ़ाएगी। इन चैंबर्स में अधिवक्ताओं और पदाधिकारियों के लिए बैठकों और व्यक्तिगत कार्यों के लिए पर्याप्त सुविधाएं उपलब्ध कराई गई हैं। नई लाइब्रेरी, जो नवीनतम कानूनी किताबों और संसाधनों से सुसज्जित है, अधिवक्ताओं के लिए एक ज्ञान केंद्र के रूप में काम करेगी।
जवाहर सिंह गंगवार के प्रयास: एक प्रेरणादायक नेतृत्व
अध्यक्ष जवाहर सिंह गंगवार ने इस परिवर्तनकारी परियोजना में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उनके नेतृत्व और दूरदर्शिता ने फतेहगढ़ बार को एक आधुनिक और उन्नत संस्था में बदलने में मदद की है। वहीं सचिव नरेश यादव ने कहा, यह सुधार अधिवक्ताओं और पदाधिकारियों के लिए एक नया आयाम लेकर आया है। इससे कानूनी प्रक्रियाओं में और अधिक तेजी आएगी और वकीलों को उनके कार्यों में बेहतर माहौल मिलेगा।”
समाजसेवी सत्यप्रकाश अग्रवाल और डॉ. मिथलेश अग्रवाल का योगदान
समाजसेवी सत्यप्रकाश अग्रवाल और डॉ. मिथलेश अग्रवाल ने इस परियोजना के लिए वित्तीय सहायता प्रदान की, जिसकी वजह से बार का यह कायाकल्प संभव हो पाया। दोनों ने बार के विकास और सुधार की दिशा में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। डॉ. मिथलेश अग्रवाल ने कहा, “यह हमारे लिए गर्व की बात है कि हम फतेहगढ़ बार के विकास में अपनी भूमिका निभा सके। अधिवक्ताओं की कार्य क्षमता बढ़ेगी और इससे न्याय प्रणाली को भी लाभ होगा।
समारोह और भविष्य की योजनाएं
फतेहगढ़ बार के इस नए स्वरूप का उद्घाटन समारोह जल्द ही आयोजित किया जाएगा, जिसमें न्यायपालिका और प्रशासनिक अधिकारियों की उपस्थिति में इसे औपचारिक रूप से खोला जाएगा। अध्यक्ष जवाहर सिंह गंगवार ने संकेत दिया कि भविष्य में बार की कार्यक्षमता और बढ़ाने के लिए और भी योजनाएं बनाई जा रही हैं। इसके अलावा संस्थापकों की मूर्तियां भी स्थापित की गईं है,साथ ही ई लाइब्रेरी की स्थापना भी शीघ्र हो रही। इस कायाकल्प से फतेहगढ़ बार को न केवल एक नया रूप मिला है, बल्कि यह अधिवक्ताओं और पदाधिकारियों के लिए काम करने के एक बेहतर वातावरण का भी प्रतीक है। इसके साथ ही यह क्षेत्र की न्याय प्रणाली में एक नई ऊर्जा का संचार करेगा।