संभल। यूपी के संभल में 48 साल बाद खुले मंदिर के पास स्थित कुएं की खुदाई के दौरान एक के बाद एक तीन मूर्तियां (Idols) निकली हैं। करीब 15 से 20 फीट तक मंदिर की खुदाई हो चुकी है। इस दौरान कुएं में से खंडित हो चुकी ये मूर्तियां निकली हैं। जो कि 7 से 8 इंच लंबी है। देखने से ये मूर्ति माता-पार्वती जी, गणेश जी और लक्ष्मी जी की प्रतीत हो रही हैं। फिलहाल, जांच-पड़ताल जारी है और मौके पर भारी पुलिस बल मौजूद है।
दरअसल, संभल के दीपसराय से सटे खग्गू सराय में करीब 4 दशक साल से बंद पड़े पुराने शिव मंदिर को प्रशासन ने शनिवार को फिर से खुलवाया। मंदिर के खुलते ही यहां पुलिस प्रशासन और लोगों की भीड़ लग गई। पूजा-अर्चना भी शुरू हो गई। वहीं, प्रशासन की ओर से मंदिर के बिल्कुल पास पाट दिए गए एक कुएं की भी खुदाई करवाई गई। जब इसकी 15 फीट तक खुदाई हुई तो इसमें एक-एक कर देवी-देवताओं की मूर्तियां निकलने लगीं।
संभल के मंदिर पर खुदाई के दौरान कुएं से तीन मूर्तियां निकालने के बाद एडिशनल एसपी श्रीशचंद्र और सीओ अनुज चौधरी मौके पर पहुंचे हैं। उन्होंने खुदाई में निकली मूर्तियां देखीं और मीडिया से बात की। उन्होंने कहा कि इन्हें जांच के लिए भेजा जाएगा।
गौरतलब हो कि संभल जिले में बिजली चोरी चेकिंग के दौरान मिले प्राचीन हिंदू मंदिर से अब पुराने अवशेष मिल रहे हैं। आज मंदिर के पास मौजूद कुएं की खुदाई के दौरान और खंडित मूर्तियां मिली हैं। फिलहाल, इसे प्रशासन को सौंप दिया गया है। अब इसकी जांच की जाएगी।
इन सबके बीच संभल में मुस्लिम बहुल इलाके में बंद मिले 46 साल पुराने मंदिर की कार्बन डेटिंग कराने की तैयारी चल रही है। संभल के जिला प्रशासन ने भस्म शंकर मंदिर, शिवलिंग और वहां मिले कुएं की कार्बन डेटिंग कराने के लिए भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (ASI) को पत्र लिखा है। इस जांच के जरिए प्रशासन पता करना चाहता है कि मंदिर और इसकी मूर्ति आखिर कितनी पुरानी है।
आपको बता दें कि बता दें कि बिजली चोरी रोकने पहुंची पुलिस और प्रशासन की टीम ने बीते शनिवार को 1978 से बंद पड़े इस मंदिर को ढूंढा था। इसके बाद 15 सितंबर को इस मंदिर में विधि-विधान और मंत्रोचारण के साथ पूजा आरती की गई। जिला मजिस्ट्रेट राजेंद्र पेंसिया के मुताबिक यह कार्तिक महादेव का मंदिर है। यहां एक कुआं मिला है, जो अमृत कूप है। मंदिर मिलने के बाद यहां 24 घंटे सुरक्षा के लिए टीम तैनात की गई है। सीसीटीवी कैमरे भी लगाए गए हैं। यहां जो अतिक्रमण है, उसे हटाया जा रहा है।
स्थानीय लोगों का दावा है कि सांप्रदायिक दंगों और हिंदू आबादी के विस्थापन के कारण ये मंदिर 1978 से बंद पड़ा था। नगर हिंदू महासभा के संरक्षक विष्णु शंकर रस्तोगी (82) ने बाताया कि वह मैं जन्म से ही खग्गू सराय में रहते आए हैं। 1978 के दंगों के बाद हिंदू समुदाय को इस इलाके से पलायन करना पड़ा था। तब से ही हमारे कुलगुरु को समर्पित यह मंदिर बंद था।
46 सालों से बंद पड़ा ये मंदिर सपा सांसद जियाउररहमान बर्क के घर से 200 मीटर की दूरी पर मिला है। मंदिर के अंदर हनुमान जी की प्रतिमा, शिवलिंग और नंदी स्थापित हैं। फिलहाल यहां डीएम और एसपी ने सुरक्षा के चाक-चौबंद व्यवस्था की है।