तीन साल की छूट के बावजूद अभ्यर्थियों में असंतोष, पुराने ओवरएज उम्मीदवारों का आरोप – अब भी प्रक्रिया से बाहर
लखनऊ। उत्तर प्रदेश पुलिस सब-इंस्पेक्टर (SI) भर्ती को लेकर उम्र सीमा पर नया विवाद खड़ा हो गया है। सरकार ने विशेष परिस्थितियों के तहत अभ्यर्थियों को तीन साल की आयु सीमा में छूट दी है, लेकिन इसके बावजूद अभ्यर्थियों में असंतोष बना हुआ है।
कई अभ्यर्थियों का आरोप है कि इस छूट का लाभ केवल उन अभ्यर्थियों को मिला है, जो नए ओवरएज हुए हैं, जबकि जो उम्मीदवार पहले ही आयु सीमा से बाहर हो चुके थे, उन्हें अब भी मौका नहीं मिल पाया है।
अभ्यर्थियों का कहना है कि कोरोना काल और पिछली भर्ती प्रक्रियाओं में लंबे अंतराल के कारण हजारों युवा ओवरएज हो गए। सरकार की ओर से दी गई राहत अधूरी है, क्योंकि यह पुराने अभ्यर्थियों की समस्या का समाधान नहीं करती।
राज्य सरकार का कहना है कि विशेष परिस्थितियों में तीन साल की आयु छूट दी गई है, ताकि अधिक से अधिक युवाओं को अवसर मिल सके। हालांकि यह छूट निर्धारित नियमों और सीमा के तहत ही लागू की गई है।
सूत्रों के मुताबिक, कई अभ्यर्थी अब इस मुद्दे पर संगठित आंदोलन की तैयारी कर रहे हैं। उनका कहना है कि जब तक पुराने ओवरएज उम्मीदवारों को भी अवसर नहीं मिलेगा, तब तक भर्ती प्रक्रिया न्यायसंगत नहीं कही जा सकती।
इस विवाद ने एक बार फिर भर्ती परीक्षाओं की आयु सीमा और उसमें दी जाने वाली छूट पर बहस छेड़ दी है।