यूथ इंडिया संवाददाता
नवाबगंज। नगर के रामलीला मैदान की बाउंड्री को लेकर एक विवाद ने तूल पकड़ लिया है। लगभग 20 वर्ष पूर्व समिति द्वारा रामलीला मैदान की चारों तरफ बाउंड्री का निर्माण किया गया था, जिसे तिराहा निवासी दिनेश चन्द्र गुप्ता ने तोडक़र कब्जा करने का प्रयास किया था। इस घटना की जानकारी मिलते ही समिति के पदाधिकारियों ने पुलिस को सूचना देकर बाउंड्री की ईंटों को लगाकर मरम्मत कराई थी।
बाउंड्री से सटे गाटा संख्या 775 की जमीन को लेकर दिनेश चन्द्र गुप्ता ने न्यायालय में मेड़बंदी का मुकदमा दर्ज कराया था। सोमवार शाम को राजस्व निरीक्षक रामेन्द्र मौर्या और लेखपाल तरुण दीक्षित ने पुलिस व रामलीला समिति को सूचना दिए बिना जमीन की नापजोख कर बाउंड्री के भीतर दिनेश चन्द्र गुप्ता की जगह निकालकर सीमेंट के खंभे लगवा दिए।
मंगलवार को समिति के पदाधिकारियों को मैदान की बाउंड्री के अंदर खंभे लगाए जाने की जानकारी मिली। समिति के अध्यक्ष प्रमोद मिश्रा ने राजस्व टीम पर बिना सूचना दिए एकपक्षीय नापजोख कर रामलीला मैदान की जगह में कब्जा कराने की नीयत से खंभे लगवाने का आरोप लगाया और पुलिस को तहरीर दी।
थानाध्यक्ष आमोद कुमार सिंह ने दिनेश चन्द्र गुप्ता और समिति के पदाधिकारियों को बुलाकर बातचीत की और उपजिलाधिकारी कायमगंज को इस विवाद से अवगत कराया। इस दौरान भाजपा मंडल अध्यक्ष कमल भारद्वाज, सत्येंद्र सिंह यादव, प्रशान्त गुप्ता, नन्हे वर्मा, पंकज राठौर समेत रामलीला समिति के पदाधिकारी मौजूद रहे।
बीती शाम को रामलीला मैदान पहुंचे नायब तहसीलदार अनवर हुसैन ने घटना की जांच की और रामलीला समिति व दिनेश चन्द्र गुप्ता से जानकारी ली। समिति के पदाधिकारियों ने लगाए गए खंभों को उखाडऩे की मांग की, जिस पर नायब तहसीलदार ने यथास्थिति बनाए रखने और उपजिलाधिकारी न्यायालय में आपत्ति दर्ज कराने की सलाह दी।
रामलीला मैदान पर कब्जे की इस घटना ने नवाबगंज में तनाव का माहौल पैदा कर दिया है। प्रशासन द्वारा इस मामले की निष्पक्ष जांच और उचित कार्रवाई की मांग की जा रही है ताकि भविष्य में ऐसे विवादों से बचा जा सके और सार्वजनिक संपत्ति की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।