श्योपुर: मध्य प्रदेश के धार जिले में एक किसान (Farmer) की आत्महत्या (suicide) के बाद राज्य की मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस (Main opposition party Congress) ने सत्तारूढ़ सरकार पर तीखा हमला बोला है। मृतक, सिरसोद गाँव के निवासी कैलाश मीणा ने कथित तौर पर कल सुबह अपने खेत में एक पेड़ से लटककर आत्महत्या कर ली। स्थानीय किसानों और किसान संघ के सदस्यों के अनुसार, भारी बारिश के कारण धान की फसल नष्ट होने से मीणा बहुत परेशान थे। कुछ ग्रामीणों ने यह भी दावा किया कि वह अपनी बेटी के ससुराल वालों से जुड़े एक निजी विवाद के कारण तनाव में थे।
इस घटना पर आक्रोश व्यक्त करते हुए, मध्य प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने सोशल मीडिया पर लिखा, अन्नदाताओं की सरकार द्वारा हत्या कब तक जारी रहेगी? कर्ज में डूबे किसानों को तत्काल 20,000 रुपये प्रति बीघा की सहायता दी जानी चाहिए। विपक्ष के नेता उमंग सिंघार ने भी सरकार की आलोचना करते हुए आरोप लगाया कि बेमौसम बारिश से फसलों को हुए व्यापक नुकसान से किसान हताशा में हैं।
कैलाश मीणा ने कर्ज और निराशा के बोझ तले दबे होकर अपनी जान दे दी। यह घटना किसानों को भाग्य भरोसे छोड़े जाने की कड़वी सच्चाई को दर्शाती है। ‘कागज़ पर राहत, ज़मीन पर पीड़ा’ – यही भाजपा सरकार की सच्चाई है, जो किसान कल्याण के बड़े-बड़े दावे तो करती है, लेकिन ऐसी त्रासदियों पर चुप रहती है। इस बीच, ज़िला अधिकारियों ने बताया कि कलेक्टर के निर्देश पर रेड क्रॉस फंड से पीड़ित परिवार को तत्काल सहायता के रूप में 2 लाख रुपये प्रदान किए गए हैं।


