मीथेन गैस बनने के कारण टैंक फटने की बात कही
फर्रुखाबाद: थाना कादरी गेट क्षेत्र के सातनपुर मंडी के निकट शनिवार को कोचिंग सेंटर में हुए भीषण धमाके (Explosion) से पूरे इलाके में अफरा-तफरी मच गई। इस दर्दनाक हादसे में दो युवकों की मौत हो गई, जबकि आधा दर्जन से अधिक छात्र गंभीर रूप से घायल हो गए। सभी घायलों को तत्काल डॉ. राम मनोहर लोहिया संयुक्त चिकित्सालय में भर्ती कराया गया, जहां दो की हालत अभी भी नाजुक बनी हुई है।
घटना की गंभीरता को देखते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने तत्काल संज्ञान लिया और डीजीपी व मंडल स्तरीय अधिकारियों को जांच के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने स्पष्ट कहा है कि लापरवाही करने वाले किसी भी अधिकारी या जिम्मेदार व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा। घटना की तह तक जाने के लिए अलग-अलग जांच टीमें गठित की गई हैं।
रविवार को डीआईजी हरिश्चंद्र स्वयं घटनास्थल पर पहुंचे और पूरे मामले की गहराई से जांच की। उनके साथ पुलिस अधीक्षक आरती सिंह, अपर पुलिस अधीक्षक डॉ. संजय सिंह, तथा नगर क्षेत्राधिकारी ऐश्वर्या उपाध्याय सहित भारी पुलिस बल मौजूद रहा। डीआईजी के निरीक्षण के दौरान प्रारंभिक जांच में यह बात सामने आई कि टैंक में मीथेन गैस बनने और उसके दबाव से टैंक फटने के कारण यह हादसा हुआ हो सकता है। हालांकि, जांच के दौरान कन्नौज से आई फॉरेंसिक टीम को मौके से सुतली बम के कुछ अवशेष भी मिले हैं, जिससे घटना का स्वरूप संदिग्ध हो गया है।
इसके बावजूद, डीआईजी ने मीडिया से बातचीत में सुतली बम या आतिशबाजी से जुड़े किसी भी साक्ष्य का उल्लेख नहीं किया। इस कारण अब स्थानीय लोगों में तरह-तरह की चर्चाएं शुरू हो गई हैं — क्या यह हादसा वास्तव में गैस रिसाव से हुआ या किसी अन्य विस्फोटक सामग्री की वजह से?
फिलहाल स्थानीय प्रशासन ने पूरे क्षेत्र को सील कर दिया है और साक्ष्य जुटाने की प्रक्रिया जारी है। पुलिस व फॉरेंसिक टीमें हर पहलू की जांच कर रही हैं ताकि वास्तविक कारणों का पता लगाया जा सके। मुख्यमंत्री ने मामले पर कड़ी निगरानी रखने के निर्देश दिए हैं और कहा है कि दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।