वाराणसी| कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय राय ने शनिवार को वाराणसी में अपने कैंप कार्यालय में पत्रकारों से बातचीत करते हुए बिहार और उत्तर प्रदेश की कानून-व्यवस्था और शासन की स्थिति को लेकर भारी हमला बोला। उन्होंने भाजपा नेताओं द्वारा बिहार में “जंगल राज” के लौटने की बात पर पलटवार करते हुए कहा कि वर्तमान में बिहार में महा जंगलराज का माहौल है, जहाँ शराब की तस्करी ही युवाओं के लिए एकमात्र रोजगार बन गई है और राज्य सरकार स्वयं इस अवैध कारोबार में संलिप्त है।
अजय राय ने बताया कि बिहार में न तो कोई नई फैक्ट्री स्थापित हुई है और न ही युवाओं को रोजगार मिल रहा है, जिसके कारण युवाओं का पलायन बढ़ता जा रहा है। उन्होंने कहा कि पूरे देश में अराजकता और असुरक्षा का माहौल व्याप्त है। उत्तर प्रदेश में दलितों के उत्पीड़न के 15,130 मामले सामने आए हैं। उन्होंने कानपुर में नेहा शंखवार की आत्महत्या और काकोरी में दलित के साथ हुई बर्बरता का जिक्र करते हुए इसे राज्य की गंभीर सामाजिक समस्या बताया।
अजय राय ने प्रयागराज में एक पत्रकार पर चाकू से हमला और हत्या, और राहुल गांधी का नाम लेने पर हरिओम वाल्मीकि की पीट-पीटकर हत्या जैसी घटनाओं को उदाहरण के रूप में पेश किया। उन्होंने कहा कि इस प्रकार की घटनाओं को अंजाम देने वाले लोग आरएसएस से जुड़े हैं, जो पहले भी समाज में भय और उत्पीड़न का माहौल पैदा कर चुके हैं।
प्रदेश अध्यक्ष ने छठ पूजा की तैयारियों को लेकर भी सरकार की आलोचना की। उन्होंने कहा कि छठ पूजा का पर्व बिहार से शुरू होता है और इसे पूरे देश में बड़े धूमधाम से मनाया जाता है, लेकिन बनारस में गंगा घाट पर इसकी पर्याप्त तैयारी नहीं की गई है। सीवेज का पानी गंगा में डाला जा रहा है, जो अत्यंत चिंताजनक है। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार ने 12,000 ट्रेन चलाने का दावा किया था, लेकिन इस दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया।
अजय राय ने कहा कि सरकार अपनी कमियों और विफलताओं को छुपाने के लिए केवल हिंदू-मुस्लिम का राजनीतिक राग अलाप रही है। उन्होंने चेतावनी दी कि यह स्थिति अत्यंत गंभीर है और इसे नजरअंदाज करने पर समाज में असंतोष और अशांति बढ़ सकती है।





