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Monday, August 4, 2025

हरसोल्लास व श्रद्धा के साथ जेठ के पांचों बड़े मंगल पर श्री बालाजी सिद्ध ब्रह्मदेव संकीर्तन दरबार में गूंजे भजन, वितरित हुआ भव्य प्रसाद

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महंत सेवक विशाल के नेतृत्व में हुआ दिव्य आयोजन, दूर-दराज़ से पहुंचे श्रद्धालु,

ज्येष्ठ माह के प्रत्येक मंगलवार को बांटा गया विशेष प्रसाद

पीलीभीत: ज्येष्ठ माह के पावन अवसर पर आयोजित पांचों बड़े मंगल (big Tuesdays) के उपलक्ष्य में श्री बालाजी सिद्ध ब्रह्मदेव संकीर्तन दरबार (Shri Balaji Siddha Brahmadev Sankirtan Darbar) में हर सप्ताह श्रद्धा, भक्ति और उत्सव का अद्वितीय संगम देखने को मिला। दरबार के सभासद महंत सेवक विशाल के नेतृत्व में इस भव्य आयोजन की श्रृंखला पूरे महीने चली, जिसमें न केवल स्थानीय श्रद्धालु बल्कि शाहजहांपुर, लखनऊ (Lucknow), बदायूं, बरेली, खटीमा, मझोला, न्यूरिया सहित आसपास के ग्रामीण अंचलों और कालोनियों से भी भारी संख्या में भक्तगण पहुंचे।

हिंदू धर्म में बड़े मंगल का विशेष धार्मिक महत्व है। यह पर्व हनुमान जी को समर्पित होता है और विशेष रूप से उत्तर भारत, खासकर उत्तर प्रदेश में इसे बड़े श्रद्धा-भाव से मनाया जाता है। ऐसा माना जाता है कि जेठ मास में आने वाले प्रत्येक मंगलवार को हनुमान जी की विशेष कृपा प्राप्त होती है। भक्तजन व्रत रखते हैं, भंडारे का आयोजन करते हैं और दरबारों में जाकर अपनी समस्याएं भगवान के चरणों में रखकर उनके समाधान की कामना करते हैं।
इस दरबार में प्रतिदिन सुबह 11 बजे से देर शाम 7-8 बजे तक दरबार सजता रहा। हर मंगलवार को अलग-अलग प्रसाद व जलपान की व्यवस्था की गई।

प्रथम बड़े मंगल को खीर व मीठा शरबत का वितरण हुआ।

दूसरे मंगल को हलवा व चने का भंडारा आयोजित किया गया।

इसी क्रम में पुरी-आलू की सब्जी, जल, खीर और मीठा शरबत का वितरण शेष मंगलों पर होता रहा।

अंतिम बड़े मंगलवार को यह आयोजन विशेष रूप से विशाल स्तर पर किया गया जिसमें हर भक्त के लिए पुरी, आलू की सब्जी, हलवा, चना आदि का भरपूर प्रसाद वितरित किया गया।

भक्तों की सेवा में दिन भर दरबारी सेवकों की टोली सक्रिय रही। तेज धूप और भीषण गर्मी में भी श्रद्धालुओं का उत्साह कम नहीं हुआ। लोग घंटों कतार में लगे रहकर बाबा के दर्शन व आशीर्वाद पाने को आतुर दिखे। दरबार के दौरान ढोल-मंजीरे, झांझ और सजीव भजन गायन ने वातावरण को भक्तिमय बना दिया। स्वयं महंत सेवक विशाल के मुखारविंद से निकले भजनों ने उपस्थित श्रद्धालुओं को गाने, झूमने और नृत्य करने पर मजबूर कर दिया। दरबार में उपस्थित हर आयु वर्ग के लोग बाबा की भक्ति में लीन दिखे।

इस पूरे आयोजन में महंत सेवक विशाल के साथ रत्नाकर, रवि, सौरभ सिंह, विशन स्वरूप, मुकेश कुमार, वीरू गुप्ता, विकास, अंशु, ऋषभ सिंह, ऋषभ सक्सेना, अर्जुन, लव, अनिकेत, आकाश सहित सैकड़ों दरबारी सेवक पूरे समय अपनी सेवाओं में जुटे रहे। भोजन, पानी, भजन व्यवस्था और भक्तों की सुविधा के लिए इन सेवकों ने प्रशंसनीय योगदान दिया।

बताते चलें कि श्री बालाजी सिद्ध ब्रह्मदेव संकीर्तन दरबार की ख्याति अब जनपद तक सीमित नहीं रही, बल्कि गैर जनपद क्षेत्रों में भी इसकी लोकप्रियता लगातार बढ़ रही है। महंत सेवक विशाल की अगुवाई में स्थानीय कॉलोनियों से लेकर दूरस्थ गांवों में भी ऐसे दरबारों का आयोजन हो रहा है, जहां हजारों भक्त बाबा के दर पर अपनी मनोकामनाओं के साथ पहुंचते हैं और उन्हें संतोषजनक समाधान भी मिलता है। निष्कर्ष रूप में, यह कहा जा सकता है कि जेठ के बड़े मंगल का यह आयोजन श्रद्धा, सेवा और समर्पण का अनुपम उदाहरण बना, जिसने सामाजिक समरसता और धार्मिक आस्था को एक नई ऊंचाई दी।

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