मुकदमें की सुनवाई के दौरान साथी की हो चुकी मौत
फर्रुखाबाद: 18 साल बाद जानलेवा हमलें में एडीजे प्रथम शैली रॉय ने ग्रामीण को दोषी ठहराया है दोषी को दस साल कठोर कारावास की सजा (imprisonment) सुनाई है मुकदमे की सुनवाई के दौरान साथी की मौत हो चुकी है मोहम्मदाबाद थाना क्षेत्र के गांव नगला बाग निवासी सुनील कुमार सिंह पुत्र पूरन सिंह ने रंजिश में पिता पर जानलेवा हमला करने के मामले में गांव के ही चार के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी इसमें कहा था कि उसके चाचा श्याम सिंह की हत्या करीब डेढ़ माह पूर्व गांव के ही श्यामवीर सिंह उर्फ पप्पू ने षड़यंत्र कर करा दी थी।
मुकदमें में श्यामवीर सिंह उर्फ पप्पू नामदर्ज है 16 मार्च 2007 को रात्रि करीब नौ बजे वह अपने परिवार के साथ घर अन्दर आंगन में बैठा हुआ था उसी समय गांव के श्यामवीर सिंह उर्फ पप्पू,संजय,अर्जुन व राजू हाथों में तमंचे लेकर आ धमके गाली गलौज कर दरवाजा खोलने का दबाव डालने लगे दरवाजा ना खोलने पर सभी घर की बाहरी दीवार पर चढ़ गए राजू ने पिता के ऊपर तमंचे से फायर कर दिया गोली लगने से वह घायल होकर गिर पड़े सभी जान से मारने की धमकी देकर भाग गए पुलिस ने चारों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर जांच की जांच में संजय व अर्जुन के खिलाफ साक्ष्य ना मिलने पर उन्हें मुकदमे से अलग कर दिया श्यामवीर सिंह उर्फ पप्पू व राजू के खिलाफ जानलेवा हमलें में न्यायालय में आरोपपत्र दाखिल किया।
मुकदमे की सुनवाई के दौरान श्यामवीर सिंह उर्फ पप्पू की मौत हो गई अभियोजन पक्ष की ओर से संजीव पाल व के के पाण्डे ने दलीलें दी मामले की सुनवाई कर दी एडीजे प्रथम शैली रॉय ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनी गवाह व साक्ष्य के आधार पर राजू को जानलेवा हमलें में दोषी ठहराया दोषी को दस साल कठोर कारावास व तीस हजार रूपये जुर्माना की सजा सुनाई है जुर्माना अदा ना करने पर तीन माह अतिरिक्त कारावास भोगना होगा