जिले में आवारा कुत्तों का आतंक चरम पर

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दो सप्ताह में सैकड़ों लोग बने शिकार, दहशत में आमजन

कानपुर देहात। जिले में आवारा कुत्तों का आतंक लगातार बढ़ता जा रहा है। बीते दो सप्ताह के भीतर सैकड़ों लोग कुत्तों के काटने का शिकार हो चुके हैं, जिससे आमजन में भय और आक्रोश का माहौल है। गांवों से लेकर कस्बों और शहर की सड़कों तक आवारा कुत्ते खुलेआम झुंड में घूमते नजर आ रहे हैं।
स्थानीय लोगों का कहना है कि सुबह-शाम घर से निकलना मुश्किल हो गया है। बच्चे, बुजुर्ग और महिलाएं सबसे ज्यादा प्रभावित हैं। कई स्थानों पर आवारा कुत्ते अचानक हमला कर रहे हैं, जिससे लोग गंभीर रूप से घायल हो रहे हैं।
कुत्तों के काटने की घटनाओं के बाद दर्जनों लोग एंटी-रेबीज इंजेक्शन लगवाने के लिए अस्पतालों और स्वास्थ्य केंद्रों के चक्कर काट रहे हैं। जिला अस्पतालों में एंटी-रेबीज इंजेक्शन की मांग तेजी से बढ़ गई है।
जनता का आरोप है कि नगर निकाय और जिला प्रशासन इस गंभीर समस्या पर ध्यान नहीं दे रहा है। न तो आवारा कुत्तों की धरपकड़ हो रही है और न ही कोई स्थायी समाधान निकाला जा रहा है।
स्थानीय नागरिकों ने प्रशासन से मांग की है कि आवारा कुत्तों की संख्या पर नियंत्रण, नियमित नसबंदी अभियान और प्रभावित इलाकों में तत्काल कार्रवाई की जाए, ताकि लोगों को इस भय से राहत मिल सके।
यह समस्या अब केवल एक स्थानीय परेशानी नहीं, बल्कि जनस्वास्थ्य और जनसुरक्षा से जुड़ा गंभीर मुद्दा बन चुकी है। यदि समय रहते कदम नहीं उठाए गए, तो हालात और बिगड़ सकते हैं।

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