लखनऊ। लखनऊ में कांग्रेस (Congress) के प्रदेश मुख्यालय में एक कांग्रेस कार्यकर्ता की मौत के मामले ने तूल पकड़ लिया है। मृतक कार्यकर्ता को दो घंटे तक कांग्रेस दफ्तर में बेहोश पड़ा रहा, जिसके बाद उसे सिविल अस्पताल ले जाया गया, जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया। इस घटना के बाद कई सवाल खड़े हो रहे हैं कि कार्यकर्ता की मौत कैसे हुई, इसके लिए जिम्मेदार कौन है। मृतक कार्यकर्ता के परिजनों ने हत्या का केस दर्ज कराया है।
लखनऊ में कांग्रेस दफ्तर में कांग्रेस कार्यकर्ता की मौत के बाद उठ रहे सवालों पर अब सरकार जांच और एक्शन की तैयार में है। वहीं इस मामले में फोरेंसिक टीम को जानकारी मिली है कि पार्टी ऑफिस द्वारा सबूत मिटा दिए गए। कांग्रेस पार्टी कार्यालय में जिस जगह पर कार्यकर्ता की मौत हुई, वहां पर साफ-सफाई कर दी गई। फोरेंसिक टीम जब मौके पर पहुंची तो वहां सब कुछ साफ मिला है।
कांग्रेस कार्यकर्ता प्रभात की मौत को लेकर पोस्टमार्टम रिपोर्ट भी आ गई है, जिसमें खुलासा हुआ है कि प्रभात के शरीर पर कोई भी चोट के निशान नहीं हैं। दरअसल, कांग्रेस दफ्तर में कार्यकर्ता दो घंटे तक अचेत अवस्था में पड़ा रहा था। वह सिविल हॉस्पिटल में Brought Dead पहुंचा था। सवाल है कि कार्यकर्ता की मौत का जिम्मेदार कौन है, किसकी लापरवाही से समय से इलाज नहीं हो सका?
कल रात तीन घंटे तक कांग्रेस के लोगों से पूछताछ हुई है। अजय राय से भी पूछताछ होनी है, क्योंकि वे वहां मौजूद थे। DCP सेंट्रल जोन रवीना त्यागी के मुताबिक, कार्यकर्ता की मौत के मामले में परिजनों की तरफ से हत्या का केस दर्ज कराया गया है। वह किन कार्यकर्ताओं के साथ गोरखपुर से यहां आया था। यहां अचेत अवस्था में कैसे मिला, इन सब बातों को लेकर जांच की जा रही है। मृतक का मोबाइल फॉरेंसिक जांच के लिए भेजा गया है। हर बिंदु को लेकर तफ्तीश हो रही है कि आखिर मौत कैसे हुई। पारदर्शिता को ध्यान में रखते हुए पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट की वीडियोग्राफी कराई जाएगी।