फर्रुखाबाद: सरकारी महकमों में फर्जीवाड़े (Fraud) की कहानियाँ अब कोई नई बात नहीं रहीं, लेकिन स्वास्थ्य विभाग (health department) से जुड़ा एक मामला ऐसा सामने आया है, जिसने पूरे तंत्र की पोल खोल दी है। एक ही व्यक्ति – अर्पित सिंह, जिनकी नियुक्ति एक्स-रे टेक्नीशियन के रूप में हुई थी, छह अलग-अलग जिलों में नौकरी करते पाए गए हैं। यह चौंकाने वाला मामला अब मीडिया की सुर्खियों में है और स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप मचा हुआ है।
जानकारी के अनुसार, अर्पित सिंह पुत्र अनिल कुमार सिंह, निवासी सी-22 प्रतापनगर, शाहगंज, ने 12 जून 1989 को जन्म तिथि दर्शाते हुए 25 मई 2016 को स्वास्थ्य विभाग में एक्स-रे टेक्नीशियन के पद पर नियुक्ति प्राप्त की थी। उनकी मूल तैनाती सीएचसी मोहम्मदाबाद, फर्रुखाबाद में हुई थी। लेकिन जांच में सामने आया कि उसी नाम, पिता के नाम और जन्मतिथि वाले व्यक्ति की हाथरस, रामपुर, बांदा, बदायूं और बलरामपुर जिलों में भी एक्स-रे टेक्नीशियन के रूप में तैनाती है। अर्पित कुमार अलग-अलग जिलों में नौकरी करते हुए पिछले कुछ वर्षों में करोड़ों रुपये का वेतन निकाल चुका है, और हैरानी की बात यह है कि विभाग को इसकी भनक तक नहीं लगी।
सीएचसी शमसाबाद में तैनात प्रभारी डॉ. सरवर इकबाल सिद्दीकी ने बताया कि अर्पित को एक साल पूर्व वहाँ अटैच किया गया था, लेकिन वह 24 अगस्त से लगातार अनुपस्थित है। इसकी सूचना विभागीय स्तर पर दी गई थी, लेकिन अब पूरे मामले ने बड़ा रूप ले लिया है।
मीडिया में खबर आने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने फौरन संज्ञान लेते हुए जांच के आदेश दे दिए हैं। मुख्य चिकित्साधिकारी (सीएमओ) डॉ. अवनींद्र कुमार ने बताया कि इस मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय समिति गठित की गई है। समिति में अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. सर्वेश कुमार यादव, उपमुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. आरसी माथुर और डॉ. दीपक कटारिया को नामित किया गया है। जांच समिति को तीन दिनों के भीतर रिपोर्ट सौंपने का निर्देश दिया गया है। रिपोर्ट के आधार पर संबंधित व्यक्ति के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।