नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) ने आज चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग (Xi Jinping) के साथ मुलाकात करके द्विपक्षीय बैठक की। विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने बताया कि, रविवार को पीएम मोदी ने चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से बैठक में सीमा पार आतंकवाद का मुद्दा उठाया। मिस्री ने एक विशेष ब्रीफिंग के दौरान कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने इस बात पर ज़ोर दिया कि सीमा पार आतंकवाद भारत और चीन दोनों को प्रभावित करता है और इस समस्या से निपटने में दोनों देशों के लिए एक-दूसरे का सहयोग करना ज़रूरी है।
मिस्री ने कहा, प्रधानमंत्री ने सीमा पार आतंकवाद को प्राथमिकता बताया। उन्होंने इस बात पर ज़ोर दिया कि यह भारत और चीन दोनों को प्रभावित करता है, और इसलिए यह ज़रूरी है कि हम सीमा पार आतंकवाद से निपटने के लिए एक-दूसरे के प्रति समझ और समर्थन बढ़ाएँ। उन्होंने कहा, वास्तव में मैं यह कहना चाहूंगा कि हमें चीन की समझ और सहयोग प्राप्त हुआ है, क्योंकि हमने चल रहे एससीओ शिखर सम्मेलन के संदर्भ में सीमा पार आतंकवाद के मुद्दे से निपटा है।
तियानजिन में शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए सात वर्षों में अपनी पहली चीन यात्रा पर आए मोदी ने शी से दूसरी बार मुलाकात की, क्योंकि दोनों पक्ष पिछले अक्टूबर में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर सैन्य गतिरोध को समाप्त करने के लिए सहमत हुए थे, जो अप्रैल-मई 2020 में शुरू हुआ था। इस गतिरोध ने द्विपक्षीय संबंधों को 1962 के सीमा युद्ध के बाद से अपने सबसे निचले बिंदु पर पहुंचा दिया।
विदेश सचिव मिस्री ने कहा कि आज सुबह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच हुई द्विपक्षीय बैठक में भारत-चीन सीमा मुद्दे पर भी चर्चा हुई। मिसरी ने बताया कि बातचीत के दौरान मोदी ने द्विपक्षीय संबंधों के निरंतर और सुचारू विकास के लिए सीमावर्ती क्षेत्रों में शांति और स्थिरता की आवश्यकता पर बल दिया।