– लखनऊ में रह रहे शिकायतकर्ता के पिता दयाशंकर चौबे पर ही शांति भंग की धारा में कार्रवाई
– शासन व पुलिस की शह पर हो रही कब्ज़ा की कार्यवाही
आजमगढ़: जनपद की तहसील बूढ़नपुर अंतर्गत ग्राम बस्ती भुजबल, परगना कौड़िया में सरकारी भूमि पर अवैध कब्जे (Illegal occupation) का मामला सामने आया है, जिसमें आरोप है कि राजस्व एवं पुलिस विभाग के कुछ कर्मचारियों की मिलीभगत से न केवल सरकारी जमीन पर कब्जा कराया गया, बल्कि शिकायतकर्ता को ही प्रताड़ना झेलनी पड़ी।
जानकारी के अनुसार, ग्राम बस्ती भुजबल में गाटा संख्या 161, रकबा 0.024 हेक्टेयर नवीन परती भूमि पर नीरज गुप्ता उर्फ नीरज मोदनवाल, दिनेश मोदनवाल और योगेंद्र यादव उर्फ बाबूलाल यादव द्वारा अवैध रूप से निर्माण कार्य किया जा रहा था। मामले की शिकायत एक जागरूक नागरिक अंसल द्वारा एंटी भू-माफिया पोर्टल पर की गई थी। लेकिन जांच अधिकारी लेखपाल और कानूनगो ने आरोपियों को ही गवाह बनाते हुए कब्जे से इनकार कर दिया और नहर पटरी की फोटो संलग्न कर झूठी रिपोर्ट शासन को भेज दी।
सीओ बूढ़नपुर ने भी कब्जा न होने की रिपोर्ट लगाई, जबकि मौके पर दीवार खड़ी कर निर्माण कार्य शुरू हो चुका था। शिकायत की दोबारा पुष्टि कराने पर राजस्व निरीक्षक द्वारा शिकायतकर्ता को फोन पर अभद्र भाषा का प्रयोग किया गया, वहीं थाना अहरौला पुलिस ने शिकायतकर्ता के लखनऊ में रह रहे पिता दयाशंकर चौबे पर ही शांति भंग की धारा में कार्रवाई कर दी।
दयाशंकर चौबे ने मामले में मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर आजमगढ़ प्रशासन की भूमिका और राजस्व व पुलिस विभाग की मिलीभगत की उच्च स्तरीय जांच की मांग की है। स्थानीय लोगों का कहना है कि सरकारी जमीन पर कब्जा कर रिपोर्ट में लीपापोती कर दी जाती है, जिससे शासन की मंशा के विपरीत कार्रवाई होती है और असल दोषी बच निकलते हैं।


