नई दिल्ली। केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने मंगलवार 11 फरवरी को जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा परिदृश्य की समीक्षा के लिए राजधानी दिल्ली में उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की। इस दौरान जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद, सुरक्षा और सीमा सुरक्षा से संबंधित तमाम मुद्दों पर चर्चा की गई। बैठक में गृह मंत्री ने स्पष्ट किया कि मोदी सरकार आतंकवाद मुक्त जम्मू-कश्मीर बनाने के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है।
उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद के खात्मे के लिए लगातार कदम उठाए जा रहे हैं। मंत्री ने कहा कि आतंक-वित्तपोषण की निगरानी, नार्को-आतंकवादी मामलों पर पकड़ और जम्मू-कश्मीर में पूरे terror ecosystem को खत्म करना मोदी सरकार की प्राथमिकता है। उन्होंने यह भी कहा कि जम्मू-कश्मीर में पूरी तरह से आतंकवाद के पारिस्थितिकी तंत्र को खत्म करने के लिए सरकार प्रतिबद्ध है और यह सुनिश्चित किया जाएगा कि राज्य में शांति और सुरक्षा बनी रहे।
अमित शाह ने बीएसएफ को दिए खास निर्देश
गृह मंत्री ने बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स (बीएसएफ) को बॉर्डर ग्रिड को मजबूत करने और उन्नत तकनीक का उपयोग कर जीरो घुसपैठ सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में Zero Terror Plan के लिए मजबूत कदम उठाये जा रहे हैं। उन्होंने उच्च तकनीकी उपकरणों का उपयोग कर घाटी में जीरो घुसपैठ को सुनिश्चित करने का निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि बॉर्डर पर किसी भी प्रकार की घुसपैठ की कोशिशों को नाकाम करना जरूरी है, ताकि आतंकियों को राज्य में प्रवेश करने से रोका जा सके।
‘सभी एजेंसियां तालमेल के साथ काम जारी रखें’
गृह मंत्री ने सभी सुरक्षा एजेंसियों को सतर्क रहने और आतंकवाद के खात्मे के लिए एकजुट होकर काम करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सभी एजेंसियां तालमेल के साथ काम जारी रखें, जिससे किसी भी आतंकी गतिविधि को समय रहते रोका जा सके और सुरक्षा स्थिति में सुधार किया जा सके। शाह ने ये भी आश्वासन दिया कि इस प्रयास में सभी संसाधन उपलब्ध कराए जाएंगे।
मंगलवार को हुई इस अहम बैठक में केंद्रीय गृह सचिव, आईबी के निदेशक, केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) और सीमा सुरक्षा बल (BSF) के महानिदेशक और कई अन्य वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए।